कासगंज।
जनपद कासगंज के एक छोटे से गांव टीकमपुरा में एक दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है। यहाँ एक विवाहित महिला साधना को उसके ही ससुराल वालों और पति ने दहेज की मांग पूरी न होने पर बेरहमी से पीटा। महिला ने किसी तरह अपनी जान बचाई और थाने पहुंचकर अपने पति और ससुराल पक्ष के खिलाफ तहरीर दी है। इस घटना से पूरे इलाके में आक्रोश और चर्चा का माहौल बना हुआ है।
मिली जानकारी के अनुसार, साधना की शादी कुछ वर्ष पहले कासगंज के गांव टीकमपुरा गांव में हुई थी। विवाह के समय मायके पक्ष ने अपनी हैसियत के अनुसार दहेज दिया था, लेकिन ससुराल पक्ष को वह पर्याप्त नहीं लगा। शादी के बाद से ही साधना पर लगातार अधिक दहेज लाने का दबाव डाला जाने लगा। बताया जाता है कि ससुराल पक्ष के लोग उसे रोजाना ताने मारते और शारीरिक एवं मानसिक रूप से प्रताड़ित करते थे।
घटना के दिन स्थिति इतनी गंभीर हो गई कि पति समेत अन्य ससुराल वालों ने साधना को जान से मारने की नीयत से बेरहमी से पीट दिया। उसके शरीर पर गंभीर चोटें आईं और वह किसी तरह अपनी जान बचाकर मायके पहुंची। मायके पक्ष ने तुरंत उसे अस्पताल में भर्ती कराया और बाद में महिला थाना कासगंज में लिखित शिकायत दर्ज कराई।
साधना ने पुलिस को दी गई तहरीर में आरोप लगाया है कि उसका पति और सास-ससुर मिलकर उसे प्रताड़ित करते थे। वे बार-बार मायके से दहेज व रुपये नकद लाने की मांग करते थे। जब उसने यह कहकर मना किया कि उसके पिता गरीब हैं और बीमार भी रहते हैं इतनी बड़ी रकम देना संभव नहीं है, तो ससुराल वालों ने उसे मारपीट कर घर से निकाल दिया।
महिला थाना प्रभारी ने बताया कि साधना की तहरीर के आधार पर मामला दर्ज कर लिया गया है और जांच शुरू कर दी गई है। पुलिस ने कहा है कि जांच के बाद दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। वहीं, पीड़िता के बयान के अनुसार, यह पहली बार नहीं है जब उसे प्रताड़ित किया गया हो। पहले भी कई बार उसे मारा-पीटा गया, लेकिन वह समाज और रिश्तों की इज्जत की वजह से चुप रही।
स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि दहेज जैसी कुप्रथा आज भी गांवों में जड़ें जमा चुकी है। शिक्षित होते समाज में भी ऐसी घटनाएं मानवता को शर्मसार करती हैं। लोगों का कहना है कि प्रशासन को ऐसे मामलों में जल्द और कठोर कार्रवाई करनी चाहिए ताकि भविष्य में कोई और बहू इस तरह की यातना का शिकार न बने।
महिला अधिकार कार्यकर्ताओं ने भी इस घटना की निंदा करते हुए कहा कि दहेज प्रताड़ना के मामलों में महिलाओं को तुरंत कानूनी सहायता और सुरक्षा मिलनी चाहिए। दहेज मांगने वालों को सख्त सजा दी जानी चाहिए ताकि समाज में एक सशक्त संदेश जाए।
फिलहाल साधना अपने मायके में है और उसका इलाज जारी है। पुलिस ने कहा है कि आरोपी पति और ससुराल पक्ष के अन्य लोगों की तलाश की जा रही है। मामले की जांच पूरी होने के बाद गिरफ्तारी की संभावना जताई जा रही है।
इस घटना ने एक बार फिर साबित कर दिया है कि दहेज की बुराई आज भी समाज के कोने-कोने में जिंदा है और जब तक लोग अपनी सोच नहीं बदलेंगे, तब तक ऐसी घटनाओं को रोक पाना मुश्किल होगा। समाज को चाहिए कि वह बेटियों को बोझ नहीं, बल्कि सम्मान का प्रतीक माने और विवाह को लेन-देन का सौदा नहीं, बल्कि पवित्र बंधन समझे।।।। इसको मद्देनजर पुलिस को आरोपियों के खिलाफ ठोस कार्यवाही करनी चाहिए।



